बाल विवाह रोकने के लिए लोगों को किया जा रहा जागरूक

डीसी ने कहा बाल विवाह के आयोजन पर होगी कानूनी कार्यवाही
News

2025-04-25 20:14:43

रेवाड़ी, महिला बाल विकास मंत्रालय द्वारा 15 दिन सक्रीयता के तहत एक अहम कदम उठाते हुए बाल विवाह मुक्त भारत अभियान की शुरूआत की गई है। यह पहल देश में बाल विवाह की सामाजिक कुरीति को समाप्त करने तथा किशोरियों के सशक्तिकरण को बढ़ावा देने के लिए की गई है। डीसी अभिषेक मीणा ने संबंधित अधिकारियों की बैठक लेते हुए बताया कि 30 अप्रैल अक्षय तृतीया पर होने वाले सामूहिक विवाह, जिसमें बाल विवाह होने की संभावना होती है, उसके रोकथाम के लिये विशेष जागरूकता गतिविधियां आयोजित की जा रही हैं। उन्होंने कहा कि इस अभियान का मुख्य उद्देश्य बालिकाओं को शिक्षा, स्वास्थ्य और सुरक्षा प्रदान करना है। उन्होंने कहा कि इसका उद्देश्य देश भर में बाल विवाह की कुप्रथा को समाप्त करना युवा लडिक़यों को सशक्त बनाने की दिशा में महत्वपूर्ण कदम है। डीसी अभिषेक मीणा ने कहा कि अक्षय तृतीया के अवसर पर बाल विवाह रोकथाम के लिये जिला प्रशासन द्वारा नजर रखी जा रही है। इसमें सभी सरकारी स्कूल और कॉलेज में विद्यार्थियों को बाल विवाह के दुष्परिणामों के प्रति जागरूक किया जा रहा है। उन्होंने कहा कि प्रदेश सरकार ने अक्षय तृतीया जैसे अवसरों पर संभावित बाल विवाह की घटनाओं को रोकने के लिए एक सशक्त, समन्वित और बहुस्तरीय योजना बनाई है। इसमें न केवल सरकारी तंत्र बल्कि समाज के सभी वर्गों की भागीदारी सुनिश्चित की जा रही है, ताकि बाल विवाह को रोका जा सकें। उन्होंने बताया कि अक्षय तृतीया के अवसर पर 30 अप्रैल को विवाह करवाने वाले पुजारी, पाठी, गांव के पंच, सरपंच, नंबरदार व शहरों में नगर पार्षदों एवं सामुदायिक केन्द्र, सार्वजनिक भवन, बैंकट हाल, मैरिज पैलेस, धर्मशाला इत्यादि के मालिक/प्रभारियों कार्ड प्रिंटिंग, फोटोग्राफर, बैंड बाजा व टेंट हाउस के संचालकों सहित जिला की सामाजिक व धार्मिक संस्थाओं के प्रतिनिधियों को निर्देश दिए है कि वे अपने क्षेत्र में आयोजित होने वाले विवाह समारोह के संबंध में पहले से दूल्हा व दुल्हन के आयु प्रमाण पत्रों की जांच कर लें व आयु प्रमाण पत्रों की एक प्रति अपने पास भी रखे। अपने क्षेत्र में बाल विवाह का आयोजन न होने दें। ऐसा पाए जाने पर इसकी सूचना प्रशासन को दें और बाल विवाह रोकना सुनिश्चित करें। अभिषेक मीणा ने बताया कि विवाह के लिए लडक़ी की शादी की उम्र 18 वर्ष व लडक़े की शादी की उम्र 21 वर्ष निर्धारित की गई है। उन्होंने कहा कि इससे पूर्व विवाह करना कानून्न अपराध है। नियम के तहत बाल विवाह के आयोजन में भागीदार सभी लोगों पर कानूनी कार्यवाही किए जाने का भी प्रावधान है, जिसके तहत 2 साल की जेल व एक लाख रूपये तक के जुर्माने का भी प्रावधान हैै। उन्होंने कहा कि झूठी शिकायत करने वाले व्यक्ति के खिलाफ प्रशासन द्वारा सख्त कार्यवाही की जाएगी। उन्होंने कहा कि बाल विवाह के आयोजन के संबंध में सूचना समय रहते नजदीक के पुलिस थाना, चौकी में, आंगनवाड़ी वर्कर, डब्ल्यू सीडीपीओ, बाल संरक्षण अधिकारी, डीपीओ, महिला एवं बाल विकास, एसडीएम, बीडीपीओ, तहसीलदार, सीटीएम, पुलिस अधीक्षक व बाल विवाह निषेध अधिकारी व पुलिस कंट्रोल रूम के हेल्पलाइन नंबर 112, चाइल्ड हेल्पलाइन नंबर 1098, तथा महिला हेल्पलाइन नंबर 181 पर दी जा सकती है।

Readers Comments

Post Your Comment here.
Characters allowed :
Follow Us


Monday - Saturday: 10:00 - 17:00    |    
info@anupamsandesh.com
Copyright© Anupam Sandesh
Powered by DiGital Companion