2025-01-03 15:15:27
शिमला :हिमाचल प्रदेश में मौसम फिर बदलने वाला है। मौसम विभाग ने चार से सात जनवरी तक राज्य में खराब मौसम की आशंका जताई है। इस दौरान प्रदेश के मैदानों और पहाड़ी इलाकों में बारिश और बर्फबारी का पूर्वानुमान है। मौसम विभाग ने पांच और छह जनवरी को राज्य के अधिकांश हिस्सों में तेज अंधड़ चलने और आसमानी बिजली कड़कने का येलो अलर्ट जारी किया है। विभाग के अनुसार पश्चिमी विक्षोभ चार जनवरी से सक्रिय होगा और इससे मौसम में अचानक बदलाव देखने को मिलेगा। मैदानों में बारिश और पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी से ठंड का प्रकोप बढ़ने की संभावना है। पिछले दिसंबर महीने में हिमाचल प्रदेश में तीन बार बर्फबारी हुई थी। इससे पर्यटकों की संख्या में काफी इजाफा हुआ। नए साल की शुरुआत के साथ ही जनवरी की पहली बर्फबारी का इंतजार खत्म होने वाला है। शिमला, कुफरी और नारकंडा हिल्स स्टेशनों में बर्फबारी की संभावना से पर्यटक उत्साहित हैं और बड़ी संख्या में इनके उमड़ने की उम्मीद है। बीते 24 घंटों में हिमाचल प्रदेश के न्यूनतम तापमान में 2.8 डिग्री की बढ़ोतरी दर्ज की गई है। राज्य का औसत न्यूनतम तापमान इस समय सामान्य से 4.4 डिग्री अधिक है। इससे रातों के सर्दी के प्रकोप में कुछ राहत मिली है। हालांकि जनजातीय क्षेत्रों में अभी भी तापमान शून्य से नीचे है। लाहौल-स्पीति जिला का ताबो -5.5 डिग्री के साथ प्रदेश का सबसे ठंडा स्थल रहा। प्रदेश के जनजातीय क्षेत्रों में ठंड का प्रकोप अभी भी बना हुआ है। लाहौल-स्पीति जिला में तापमान शून्य से नीचे बना हुआ है। ताबो में -5.5 डिग्री, समधो में -2.9 डिग्री, कुकुमसेरी में -2.6 डिग्री और केलंग में -0.2 डिग्री सेल्सियस दर्ज किया गया। इन इलाकों में ठंड से जनजीवन प्रभावित है। शिमला का न्यूनतम तापमान शुक्रवार को 11.5 डिग्री दर्ज किया गया, जो सामान्य से 8.4 डिग्री अधिक है। ख़ास बात यह है कि शिमला की रातें बिलासपुर, हमीरपुर, मंडी, ऊना और कांगड़ा जैसे मैदानी जिलों की तुलना में अधिक गर्म हैं। मौसम विज्ञान केंद्र शिमला के अनुसार आठ और नौ जनवरी को प्रदेश में मौसम पूरी तरह से साफ रहेगा। इस दौरान धूप खिलने से ठंड में कुछ कमी आ सकती है। हालांकि इससे पहले बारिश और बर्फबारी के कारण तापमान में गिरावट दर्ज की जाएगी। मौसम विभाग ने पर्यटकों और स्थानीय लोगों को सतर्क रहने की सलाह दी है। पहाड़ी इलाकों में बर्फबारी के कारण सड़कें फिसलन भरी हो सकती हैं। यातायात प्रभावित होने और बिजली आपूर्ति बाधित होने की भी आशंका है। अंधड़ और बिजली कड़कने के दौरान लोगों को घर के अंदर रहने की सलाह दी गई है।